अजब गजब शोध: एनीमिया (anemia) की जांच अब मोबाइल से आंख की फोटो लेने से होगी। अमेरिका के वैज्ञानिकों ने एनीमिया जांच करने का एक अजीबोगरीब तरीका खोजा है। वैज्ञानिकों ने दावा किया मोबाइल फोन के कैमरे के जरिए फोटो खींचकर एनीमिया का पता लगाया जा सकता है। वैज्ञानिकों ने बताया कि आंखों के निचले हिस्से का मोबाइल फोन के कैमरे से फोटो खींचने के बाद एनीमिया का पता लग जाएगा।
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वैज्ञानिकों द्वारा एक ऐसा आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस मॉडल तैयार किया गया है जो आंखों के निचले हिस्से की फोटो लेने के बाद एनालिसिस करता है। फोटो वाले हिस्से का एनालिसिस करने के बाद यह बताता है कि इस इंसान को anemia है या नहीं। इस अजीबोगरीब शोध को अमेरिका के रोह्ड आइलैंड हॉस्पिटल और रिसर्च ब्राउन यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं ने मिलकर किया।
मोबाइल के जरिए एनीमिया की जांच कैसे संभव है?
शोधकर्ताओं के मुताबिक फोटो लेने के बाद जिस तकनीकी का इस्तेमाल करके उसकी जांच की जा रही है उसमे एक ऐप का इस्तेमाल किया जाता है। इसके लिए सबसे पहले इंसानों को अपनी आंखों की फोटो खींचनी होगी उसके बाद उस फोटो को एक ऐप में अपलोड करना होगा और फोटो अपलोड होते ही वह अपनी रिपोर्ट जारी कर देगा। इस तकनीकी की वजह से अब एनीमिया की जांच के लिए किसी को भी ब्लड देने की जरूरत नहीं पड़ेगी। इसलिए एनीमिया की जांच दर्दरहित होगी।
एनीमिया (anemia) क्या है?
एनीमिया एक प्रकार की ऐसी बीमारी है जिसमें शरीर के अंदर लाल रक्त कोशिकाओं की मात्रा कम होने लगती है। इन्हीं लाल रक्त कोशिकाओं में हिमोग्लोबिन पाया जाता है जो शरीर में ऑक्सीजन को ले जाने और लाने का काम करता है। स्वाभाविक रूप से अगर शरीर में लाल रक्त कोशिकाओं की संख्या कम होगी तो उसके साथ ही साथ हीमोग्लोबिन की मात्रा भी शरीर में कम होने लगती है, और इसके वजह से ऑक्सीजन की कमी शरीर में होती है। शरीर में ऑक्सीजन की कमी होने की वजह से स्किन पीला दिखने लगता है। पीलापन शरीर में दिखना यह एनीमिया का सबसे बड़ा लक्षण होता है।
पूरी दुनिया के करीब 25 फीसदी लोग एनीमिया से है ग्रसित
एक रिपोर्ट के मुताबिक पूरी दुनिया में करीब 25 फ़ीसदी से अधिक आबादी एनीमिया बीमारी से ग्रसित है। एक शोधकर्ता डॉक्टर सेलिम सुनेर के मुताबिक एनीमिया का सीधा मतलब है कि शरीर में हीमोग्लोबिन की मात्रा का कम हो जाना। एनीमिया की वजह से मौत का भी खतरा बना रहता है। खासकर बच्चों, बुजुर्गों और गंभीर बीमारियों से ग्रसित लोगों में एनीमिया की वजह से मौत भी होने की संभावना रहती है।
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इससे पहले anemia की जांच के लिए लोगों को ब्लड सैंपल देने पड़ते थे जिसमें मरीजों को दर्द सहना होता था। इससे पहले कई रिसर्च के मुताबिक किया गया और साबित हुआ कि हाथो के नाख़ून और हथेली के मुकाबले आंखों की जांच करना एनीमिया के लिए सटीक तरीका है।
मोबाइल के जरिये कैसे होगा जांच?
इस anemia का पता लगाने के लिए वैज्ञानिकों ने स्मार्टफोन से 142 मरीजों की आंखों की तस्वीर ली। इससे पहले वैज्ञानिकों ने हाथों से एनीमिया पता लगाने का अनुभव किया। लेकिन वैज्ञानिकों ने जब इस आंख की मदद से एनीमिया का पता लगाना शुरू किया तो इसके लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और एल्गोरिदम की मदद ली और आंखों के रंग के गहराई की जांच की।
तस्वीर लेने के बाद उसके हर एक एक एंगल और पिक्सेल के कलर टोन को जांचा गया जिसके बाद इनके अलावा 202 एनीमिया के मरीजों की भी जांच किसी मॉडल से की गई। इन सभी लोगों में से करीब 72 फ़ीसदी मरीजों में एनीमिया की पुष्टि हुई जो नई तकनीकी के सहायता से की गई थी।